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राष्टपति दतक पहाड़ी कोरवा मूलभूत सुविधाओ से हैं वंचित
बलरामपुर:- बलरामपुर ब्लॉक अंतर्गत ग्राम पंचायत सीतारामपुर के पहाड़ी कोरवा परिवार के लोगो ने मूलभूत सुविद्धाओ से आज भी वंचित है, बलरामपुर जिला मुख्यालय से मात्र 35किलोमीटर दूर सुदूर वनाँचल गांव सीतारामपुर के ऊपरकण्डा एवं कण्डादामर बस्ती मूलभूत सुविधाओ के अभाव में जीवन जीने के लिए मजबूर है, बलरामपुर जिले का स्थापना 2012-13 में हुवा है उस दौरान भारतीय जनता पार्टी रमन सिंह मुख्यमंत्री थे उसके बाद कांग्रेस से भूपेश बघेल cm रहे फिर वर्तमान में bjp के विष्णु देव साय मुख्यमंत्री एवं रामविचार नेताम छत्तीसगढ़ के कदावर नेता और उन्ही के विधानसभा क्षेत्र में आजादी के 7 दशक बाद भी यहां के ग्रामीण मुलभुत सेवाओं से वंचित है। Bjp एवं कांग्रेस दोनों का सता शासन आयी और bjp की सत्ता शासन चल ही रहा है लेकिन यहां के ग्रामीणों का जीवन में सुधार नहीं हुवा है।केंद्र सरकार की महत्वपूर्ण योजना जलजीवन मिशन के तहत हर घर नल जल के माध्यम से पिने का स्वच्छ पानी पहुंचाने के उदेश्य से सभी पंचायतो में करोड़ो के लागत से काम हो रहा है लेकिन सीताराम पुर के 4किलोमीटर दूर ऊपर कण्डा एवं कंडा दामर मोहल्ले में शुद्ध पेयजल का तो नसीब ही नहीं है लेकिन विजली का भी अभाव है।ग्रामीण ग्रामीण बदहाली में जीवन जीने को मजबूर है हर घर में प्रकाश मिले उस उदेश्य से सोलर प्लेट तो वितरण किये है लेकिन बरसात के दिनों में पर्याप्त धुप नहीं मिलने पर अंधेरा में ही राते गुजारने पड़ता है। ग्रामीणों की समस्या यहीं खत्म नहीं होती ऊपरकण्डा में प्राथमिक शाला एवं आंगनबाड़ी केंद्र तो है लेकिन उस आँगनबाड़ी तक कण्डादामर के बच्चे को जाने के लिए जंगल व झाड़ी से गुजर कर जाना पड़ता है रास्ता अच्छा नहीं होने के कारण नेता मंत्री प्रशासन के अधिकारी कभी ग्रामीणों को शुद्ध लेने तक कभी नहीं पहुंचते, ऊपर कण्डा एवं कण्डा दामर दोनों बस्ती मिला कर 50से 60परिवार पहाड़ी कोरवा एवं नगेसिया निवास करते है लेकिन न तो 1हैंडपम्प है और नहीं सामुदायिक कुँवा ग्रामीण ढोढ़ी व नाला का पानी पिने को मजबूर है। *बॉक्स (ढोढ़ी का पानी भरते वक्त का विजुवल वीडियो )एवं महिला का बाइट* आगे ग्रामीण बताते है कि रास्ता भी नहीं है खेती के काम करके सायं को पिने के लिए पानी लेने ढोढ़ी में जाते है तो हमेशा जंगली जानवर भालू व साप बिच्छू का डर बने रहता है. ग्रामीणों की समस्या यहीं खत्म नहीं होता ग्रामीण ज़ब विमार पड़ते है तो खुदा से खुद मौत मांगने को मजबूर हो जाते है, ऊपर कण्डा एवं कण्डा दामर तक कभी आज तक न तो संजीवनी एक्सप्रेस 108 वाहन पहुंची है और नहीं महतारी एक्सप्रेस 102 ग्रामीणो ने बताया कि 4किलोमीटर तक खाट नहीं तो झेलँगी में टांग कर गर्भवती महिला और बीमार व्यक्ति को सीतारामपुर मेन रोड तक ले जाते है। *बॉक्स (रोड का वेजुवल वीडियो)* वहीं ग्रामीणों ने बताया कि राशन लाने में भी परेशानियों का शामना करना पड़ता है अब देखना होगा की खबर चलाये जाने के बाद कब तक ग्रामीणों की समस्या का समाधान होता है या यूँ ही ग्रामीणों को बदहाली में जीवन जीना पड़ता है।

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